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भारत में जनसंख्या वृद्धि के कारण, समस्याएं तथा समाधान bharat me jansankhya briddhi ke karan, samasyayen, tatha samadhan in hindi

भारत में जनसंख्या वृद्धि (population growth) एक बहुत बड़ी समस्या बनती जा रही है और इसके अनेक प्रकार के कारण भी हैं तथा इसके समाधान के लिए हमें अनेक प्रकार के उपाय करने चाहिए जो कि सरकार ने किया भी है हम आपको बताना चाहते हैं कि भारत में जनसंख्या वृद्धि किस कारण से इतना तेजी से फैल रही है भारत जनसंख्या की दृष्टि से एशिया महाद्वीप में दूसरे स्थान पर है वहीं पर क्षेत्रफल की दृष्टि से सातवें स्थान पर है इस प्रकार से आप अनुमान लगा सकते हैं कि भारत की जनसंख्या कितनी अधिक है वहीं पर यदि चीन की बात की जाए तो चीन की क्षेत्रफल भी काफी ज्यादा है उसके मुताबिक वहां की जनसंख्या भी ज्यादा है इसलिए वह विकसित देशों की तुलना में आता है और वहीं पर भारत की जनसंख्या ज्यादा होने के कारण यह विकसित देशों की तुलना में नहीं शामिल हो पाया है और विकास करने में प्रयत्नशील है लेकिन अब तक सफलता हासिल नहीं हुई है इसका एक मुख्य कारण जनसंख्या माना जाता है क्योंकि जनसंख्या वृद्धि से अनेक प्रकार की समस्याएं हमारे देश में जन्म लेती हैं इसलिए जनसंख्या भारत के लिए एक अभिशाप बन चुका है जो कि देश के विकास में बाधक बना हुआ है

जनसंख्या वृद्धि के कारण (reason of population growth)

जनसंख्या वृद्धि के अनेक प्रकार के कारण पाए जाते हैं जो कि भारत में इन कारणों के द्वारा जनसंख्या तेजी से बढ़ रही है और ऐसी स्थिति में व्यक्ति अपने ही पैर में कुल्हाड़ी मारता हुआ दिखाई देता है

1-गर्म जलवायु (garm jalvayu)

जनसंख्या वृद्धि का एक मुख्य कारण गर्म जलवायु माना जाता है जैसा कि आप सभी लोगों को मालूम होगा कि भारत की अपेक्षा अन्य देशों की जलवायु काफी ठंडी है जो कि चीन और अमेरिका तथा रूस जैसे देश में अधिकतर तापमान 30 डिग्री सेल्सियस तक ही रहता है जबकि भारत की गर्मियों की अधिकतम तापमान 50 डिग्री सेल्सियस तक भी पहुंच जाता है और कुछ प्रदेशों में 45 डिग्री सेल्सियस तथा 40 डिग्री सेल्सियस भी रहता है अतः यह एक मुख्य कारण हो सकता है जो कि भारत की जनसंख्या को बढ़ाने में काफी कारगर माना गया है

2-धार्मिक अंधविश्वास (gharmik andhviswas)

भारत में अभी लोग पुराने रीति रिवाज परंपरा तथा अंधविश्वास पर विश्वास करते हैं जो कि भारत की जनसंख्या वृद्धि के लिए सहायक मानी जाती है क्योंकि अनेक प्रकार के धर्मों में यह बताया गया है कि यदि आपके पूर्वज को चलाने वाला लड़का जन्म नहीं लेता है ऐसी स्थिति में वह स्वर्ग को प्राप्त नहीं कर सकता है इस वजह से वह पुत्र प्राप्ति के लिए लगातार बच्चों का उत्पादन करता रहता है और ऐसी स्थिति में वह पुत्र प्राप्ति के लिए लगातार लड़कियों को जन्म देता रहता है जोकि भारत की जनसंख्या को वृद्धि करने में मदद मिलती है

3-संयुक्त परिवार (joint family)

संयुक्त परिवार के अंतर्गत एक खून से जुड़े हुए प्रत्येक लोग एक साथ निवास करते हैं एक साथ भोजन ग्रहण करते हैं तथा एक साथ कार्य करते हैं ऐसी स्थिति में होता क्या है कि परिवार तथा बच्चों के निर्वहन का बोझ किसी एक के सिर पर नहीं रहता है जिसकी वजह से किसी को भी कोई फिक्र नहीं होती है कि उनके बच्चों की पढ़ाई लिखाई तथा उनके पालन पोषण के लिए धन की आवश्यकता होगी और वह पूरी तरह से स्वच्छंद होकर बच्चे पैदा करते हैं जिनकी वजह से संयुक्त परिवार में ढेर सारे बच्चे हो जाते हैं और वह जनसंख्या को बढ़ाने में काफी सहायक होते हैं

4-निम्न जीवन स्तर (low catagry life)

भारत में आधुनिक युग में भी अधिकतर ग्रामीण इलाकों में देखा जाता है कि लोगों का जीवन स्तर काफी निम्न है और वह एक दुख भरी जिंदगी को वितरित करते हैं जिन्हें एक समय के भोजन के लिए उन्हें सोचना पड़ता है और उसका व्यवस्था करना पड़ता है इस प्रकार से वह संतानोत्पत्ति करते हैं और यह सोचते हैं कि उनके बेटे आगे चलकर बड़े होंगे और कार्य करेंगे तथा उनके भरण-पोषण के लिए धन एकत्र करेंगे लेकिन ऐसा बिल्कुल भी नहीं होता है उनका जीवन स्तर दिन प्रतिदिन गहराइयों में ही जाता रहता है

5-अशिक्षा (uneducated)

शिक्षा सिर्फ मानव को धन कमाने का ही नहीं बल्कि उसके अंदर गुणों का भी विकास करता है तथा उसके मस्तिष्क का भी विकास करता है जिसकी वजह से वह व्यक्ति अपना भला-बुरा तथा अपने देश का भला बुरा सोचने पर काफी सक्षम होता है इसलिए अशिक्षा जनसंख्या वृद्धि का एक मुख्य कारण माना जाता है जैसा कि आप सभी लोगों को मालूम होगा कि भारत के ग्रामीण इलाकों में अभी लगभग 30% लोग अनपढ़ हैं जो कि यह नहीं समझते कि उन्हें अपने देश के लिए क्या करना चाहिए और उनका देश के विकास में क्या योगदान है सिर्फ सरकार को ही कोसते रहते हैं और यह कहते रहते हैं कि सरकार विकास नहीं कर रही है

6-ऊंची जन्म दर (unchi janm dar)

भारत की जन्म दर काफी तेजी से हो रही है जो कि मृत्यु दर की अपेक्षा बहुत ही आगे निकल चुकी है इस वजह से जनसंख्या विस्फोट होता है और भारत की जनसंख्या काफी तेजी से बढ़ती है हमारे कहने का तात्पर्य यह नहीं है कि भारत में लोग मर नहीं रहे हैं ऐसा बिल्कुल भी नहीं है लेकिन जिस प्रकार से लोगों के जन्म हो रहे हैं उस प्रकार से मृत्यु दर काफी कम है आता है इसका यह सीधा कारण हो सकता है कि ऊंची जन्मदर जनसंख्या वृद्धि में काफी सहायक है

7-मनोरंजन साधनों का अभाव (manoranjan sadhno ka abhaw)

आधुनिक युग में तो मनोरंजन साधनों का काफी ज्यादा व्यवस्था हो चुका है और प्रत्येक घर में मोबाइल तथा टीवी हो चुकी है लेकिन अभी ग्रामीण इलाकों में कुछ ऐसे लोग हैं जिनके घर पर मनोरंजन के साधनों का अभाव है ऐसी स्थिति में होता क्या है कि दिनभर कार्य करने के पश्चात वह व्यक्ति जब शाम को खाना खाकर बिस्तर पर जाता है तो उसे मनोरंजन के लिए अपने पत्नी के साथ संबंध बनाता है जिसकी वजह से जनसंख्या वृद्धि होना स्वाभाविक है

8-सरकारी कानूनों का व्यापक ना होना (sarkari kanoono ka vyapak na hona)

जनसंख्या वृद्धि से हमारे देश की अनेक समस्याएं बढ़ती जा रही हैं यह बात सरकार को भी मालूम है और इस वजह से सरकार ने भी अनेक प्रकार के कानून बनाए हैं जिसमें हम दो हमारे दो जैसे भी कानून लागू किए गए हैं और सरकार प्रतिदिन यही बताती है कि भारत की जनसंख्या नियंत्रित नहीं हो रही है और ऐसी स्थिति में हमें प्रत्येक भारतीयों का योगदान चाहिए जिसके द्वारा जनसंख्या को नियंत्रित किया जा सकता है लेकिन इन कानूनों का सही से लागू ना होना एक मुख्य कारण माना जाता है जो कि जनसंख्या वृद्धि करने में सहायक होती है क्योंकि इन कानूनों को अब भी भारत में कोई भी मानने को तैयार नहीं है और आप लोग देख पा रहे होंगे कि तमाम लोगों के घर पर दर्जनों बच्चे जन्म लेते हैं

9-सामाजिक कारण (social reason)

भारत में जनसंख्या बढ़ाने के लिए सामाजिक कारण भी काफी महत्वपूर्ण माने जाते हैं क्योंकि यदि किसी औरत का विवाह होने के लगभग एक 2 महीने पश्चात उसके पति की मृत्यु हो जाती है तो वह स्त्री किसी और पुरुष के साथ विवाह कर सकती है क्योंकि यदि वह स्त्री अकेले जीवन व्यतीत करती है तो लोग उसे अनेक प्रकार की गलत दृष्टि से देखते हैं तथा उस स्त्री को भी अपना जीवन निर्वाह करने में काफी ज्यादा परेशानी होती है ऐसी स्थिति में उसे विवाह करना अत्यंत आवश्यक होता है जो की जनसंख्या बढ़ने का कारण माना जाता है

10-विवाह की अनिवार्यता (essentiality of marriage)

विवाह की अनिवार्यता जनसंख्या बढ़ाने में काफी मददगार साबित हुआ है क्योंकि जब भी कोई व्यक्ति की शादी नहीं होती है तो उसे लोग अनेक प्रकार के ताने देते रहते हैं और परेशान करते रहते हैं ऐसी स्थित मैं या माना जाता है कि भारत में विवाह का भी अनिवार्य होता है अविवाहित स्त्री व पुरुष को सम्मान की दृष्टि से कोई भी नहीं देखता है जिसके वजह से उसे विवाह करना आवश्यक होता है और यह भारत की जनसंख्या बढ़ाने में काफी सहायक माना जाता है

जनसंख्या वृद्धि के दुष्प्रभाव (efect of population growth)

आप हनुमान भी नहीं लगा सकते हैं कि जनसंख्या वृद्धि से हमारे देश में कितने दिन ज्यादा आर्थिक और सामाजिक तथा सांस्कृतिक और राजनीतिक संकट दिखाई देता है जो कि एक देश के विकास के लिए काफी बाधक माना जाता है और यह देश तथा व्यक्ति के लिए काफी घातक साबित हुआ है और एक अभिशाप बन चुका है जो की जनसंख्या वृद्धि को रोकने काफी आवश्यक हो गया है इसके होने वाले दुष्प्रभाव क्या-क्या है यदि आप जानना चाहते हैं तो इस पोस्ट को पूरा पढ़ें

1-खाद्यान्न आपूर्ति की समस्या (khadyan aapoorti ki samasya)

जनसंख्या वृद्धि के कारण खाद्यान्नों में काफी कमी आई है और भारत में किसी से प्राप्त अनाज को सरकार बाहर विदेश में नहीं भेज पाती है जिसके वजह से विदेशी मुद्रा हमारे देश में नहीं आ पाता है और इस प्रकार से दिन प्रतिदिन हमारा देश प्रतिदिन एक निर्धनता और गरीबी के दलदल में धड़कता हुआ चला जाता है अभी हाल ही में आप लोगों ने देखा होगा कि श्रीलंका में खाद्यान्न की कितनी ज्यादा समस्या आई थी जिसके वजह से महंगाई गरीब गरीबी और भुखमरी फैल चुकी थी ठीक इसी प्रकार से भारत में भी यह समस्या आना कोई बड़ी बात नहीं है हालांकि अभी तक तो हालात काबू में हैं

2-देश के विकास में बाधक (restruction of cuntry dovelopment)

जनसंख्या वृद्धि देश के विकास में सीधा प्रभाव डालती है जो कुछ भी भारत में उत्पादन होता है वह सभी ऊंट के मुंह में जीरे के समान हो जाता है और इतनी बड़ी जनसंख्या को खाने के लिए उत्पादन के साधन सीमित होते हैं इस वजह से यह देश के विकास में काफी बाधक माना जाता है जो कुछ भी अनाज पैदा होता है वह देश की जनसंख्या को सिर्फ खाने भर के लिए होता है इस वजह से भारत का विकास नहीं हो पाता है और दिन प्रतिदिन भारत अनेक प्रकार की परेशानियों की दलदल में धंसा हुआ चला जाता है

3-रोजगार की समस्या (unempolyment)

जनसंख्या वृद्धि के कारण रोजगार की समस्या जन्म लेती है हालांकि तमाम मामलों में यह देखा गया है कि रोजगार के लिए अधिकतर लोग विदेशों में जाकर अपना जीवन यापन करते हैं और वहां पर कार्य करके अपना जीवन निर्वाह करते हैं इस कार्य के द्वारा देश की विकास होना नामुमकिन है और देश की जनसंख्या अत्यधिक हो जाने के कारण करोड़ों की संख्या में लोग बेरोजगार हो गए हैं और उन्हें अपना जीवन यापन करने के लिए कठिन परिस्थितियों का सामना करना पड़ता है

4-कृषि के छोटे-छोटे टुकड़े (krishi ke chhote tukde)

आप लोग अधिकतर देख पा रहे होंगे कि जिन लोगों के पास आज के लगभग 20 साल पहले 20 एकड़ जमीन था वह आधुनिक युग में लगभग एक 1 एकड़ में परिवर्तित हो गए हैं क्योंकि उनके पूर्वज के पास 20 एकड़ जमीन था जिसके बाद उनके पूर्वज के पश्चात उनका परिवार लगभग 20 परिवार बन चुका है और ऐसी स्थिति में उनके जमीन के छोटे-छोटे टुकड़े हो गए हैं जिनमें किसी यंत्रों का संचालित होना नामुमकिन हो गया है और ऐसी परिस्थिति में वह अधिक अनाज भी नहीं उगा सकते हैं के द्वारा किसी पर काफी गहरा प्रभाव पड़ा है तथा उत्पादन में कमी आई है

5-प्रदूषण की समस्या (pradosan ki samasya)

जनसंख्या वृद्धि की वजह से प्रदूषण में काफी वृद्धि होती है जैसा कि आप सभी लोग को मालूम होगा कि व्यक्ति जिस स्थान पर निवास करता है वहां पर अपना मल मूत्र त्याग करता है जिसके वजह से प्रदूषण काफी फैलता है और वहां का वातावरण काफी गंदा हो जाता है उदाहरण के लिए आप लोग मान सकते हैं कि दिल्ली का वातावरण काफी गंदा हो चुका है जो कि आए दिन वहां की प्रदूषण लेवल लगातार बढ़ती जाती है क्योंकि वहां की जनसंख्या बहुत ही ज्यादा है और जनसंख्या घनत्व काफी ज्यादा होने की वजह से वहां पर प्रदूषण की काफी समस्या उत्पन्न होती है

6-निम्न जीवन स्तर (low catagry life)

जनसंख्या वृद्धि की वजह से लोगों का जीवन स्तर निम्न होता चला जाता है और वह दिन प्रतिदिन गरीबी और निर्धनता के दलदल में फंसते चले जाते हैं क्योंकि आप उदाहरण के लिए मान सकते हैं कि यदि आपके सिर्फ एक बेटा है तो आप बहुत ही सही तरीके से उसका पालन पोषण और पढ़ाई लिखाई का इंतजाम कर सकते हैं जो कि उसे उच्च शिक्षा भी प्रदान करा सकते हैं लेकिन यदि वहीं पर आपके चार या पांच बच्चे हो जाए तो आप उन चारों बच्चों को उचित शिक्षा और उचित जी ने जीवन स्तर नहीं दे सकते क्योंकि इसके लिए धन की आवश्यकता होती है और आप उसी धन को 4 बच्चों में पालन पोषण में तथा उनके पढ़ाई पर खर्च करेंगे

जनसंख्या नियंत्रण के सरकारी उपाय (jansankhya niyantran ke sarkari upay)

सरकार को तथा भारत की जनता को भी मालूम है कि जनसंख्या पर यदि नियंत्रण नहीं किया गया तो आने वाले कुछ दिनों में भारत काफी परेशानियों का सामना करता हुआ दिखाई दे रहा है और इस वजह से सरकार ने अनेक प्रकार के नियम तथा कानूनों को अपनाएं है जिसके द्वारा कुछ लाभ होता हुआ दिखाई दे रहा है लेकिन यह पूरी तरह से प्रभावी ना हो पाने के कारण अब तक जनसंख्या पर कुछ खास नियंत्रण नहीं हुआ है अतः सरकार के द्वारा कुछ किए गए सरकारी उपायों के बारे में हम यहां पर आपको चर्चा करेंगे

1-महिला शिक्षा पर जोर (mahila siksa per jor)

सरकार ने भारत की जनसंख्या को नियंत्रित करने के लिए महिलाओं की शिक्षा पर जोर डाला है जिसके वजह से महिलाएं शिक्षित हो सके और अपना जीवन यापन करने के लिए स्वयं धन कमा सके तथा अपना जीवन यापन कर सके ताकि पुरुषों के ऊपर उनकी जीवन की निर्भरता ना हो और ऐसी स्थिति में जनसंख्या पर काफी नियंत्रण पाया गया है क्योंकि यदि महिलाएं शिक्षित होंगी तो वह अपने देश के विकास के लिए तथा अपना अच्छा या बुरा समझने का प्रयत्न करेंगे और इस प्रकार से जनसंख्या पर कुछ नियंत्रण पाया गया है

2-शिक्षा की अनिवार्यता (siksa ki anivaryta)

नगरीय तथा ग्रामीण समाज में भी सरकार के द्वारा शिक्षा की अनिवार्यता करती है जो कि प्रत्येक व्यक्ति के लिए शिक्षा अनिवार्य है और ऐसी स्थिति में सरकार सरकारी स्कूलों में फ्री शिक्षा तथा किताबें और ड्रेस तथा भोजन भी प्रदान करती है ताकि सभी लोग शिक्षा ग्रहण कर सके और अपना अच्छा या बुरा समझ सके उन्हें अपने जीवन में क्या करना चाहिए तथा उन्हें अपने देश के लिए और अपने देश के विकास के लिए क्या-क्या प्रयत्न करें चाहिए यह समझने की शक्ति रख सकें और इस वजह से जनसंख्या पर काफी नियंत्रण पाया जा सकता है

3-विवाह की आयु का निर्धारण (vivah ki aayu ka nirdharan)

आज के लगभग 20 साल पहले एक ऐसी प्रथा प्रचलित थी जिसे लगभग 5 या 10 साल में लड़का या लड़की की शादी हो जाती थी और उसके पश्चात लगभग 15 साल की उम्र में उनके बच्चे भी हो जाते थे ऐसी स्थिति में जनसंख्या का बढ़ना स्वाभाविक है लेकिन आधुनिक युग में शिक्षा के प्रचार-प्रसार तथा सरकारी प्रयत्न के द्वारा विवाह की आयु का निर्धारण किया गया है जिसमें लड़की की उम्र 18 साल के ऊपर तथा लड़के की उम्र 21 साल के ऊपर होनी चाहिए तभी विवाह करना एक कानूनी तरीका माना जाता है यदि इसके अंतर्गत कोई विवाह नहीं करता है तो वह दंड का भागी होता है हालांकि इसका प्रभाव अभी पूरी तरह से देखने को नहीं मिल रहा है लेकिन तमाम लोग ऐसे हैं जो कि शिक्षित हैं और इस कारण से वह इसका पालन कर रहे हैं

4-गर्भनिरोधक साधनों का विकास (garbh nirodhak sadhno ka vikash)

भारत के ग्रामीण इलाकों की अधिकता जनसंख्या को अब तक गर्भनिरोधक साधनों के बारे में पता नहीं होता है जिसके वजह से जनसंख्या वृद्धि काफी तेजी से होती है इस वजह से सरकार ने अनेक प्रकार के अस्पताल के कर्मचारियों के द्वारा ग्रामीण इलाकों में जाकर स्त्रियों और पुरुषों के साथ मीटिंग की जाती है जिसमें यह शिक्षा दी जाती है कि उन्हें किस प्रकार से गर्भ निरोधक साधन प्राप्त हो सकते हैं और उनका उपयोग किस प्रकार से किया जाता है जिसके द्वारा जनसंख्या को नियंत्रित किया जा सकता है और उनके परिवार तथा उनके देश का विकास हो सकता है

जनसंख्या नियंत्रण के सुझाव (population control tips)

जनसंख्या को नियंत्रित करने के लिए सरकार ने अनेक प्रकार के प्रयत्न किए हैं लेकिन इन प्रयत्न के बावजूद भी अब तक जनसंख्या पर कोई खास नियंत्रण नहीं पाया गया है अतः जनसंख्या को नियंत्रित करने के लिए हम यहां पर कुछ सुझाव के बारे में बताने वाले हैं जिनका पालन करने के बाद जनसंख्या पर काफी नियंत्रण पाया जा सकता है

1-सरकारी कानूनों का कड़ाई से पालन (sarkari kanoono ka kadai se palan)

सरकार को परिवार नियोजन से बने हुए कानूनों को पारित कराने के लिए एक ऐसा कानून बनाया जाना चाहिए जिसके अंतर्गत यह लागू होना चाहिए कि यदि कोई व्यक्ति इन कानूनों का पालन नहीं करता है और अपनी जनसंख्या को नियंत्रित नहीं करता है तो उसे कोई भी सरकारी सुविधाएं नहीं प्रदान की जाएगी यहां तक कि उसे देशद्रोही भी घोषित किया जा सकता है उसके बाद जनसंख्या पर काफी नियंत्रण पाया जा सकता है

2-जनसंख्या वृद्धि की भयावह स्थिति को समझाना चाहिए

जनसंख्या वृद्धि से क्या परिणाम हो सकते हैं इसके बारे में अभी तमाम लोगों को बिल्कुल भी अंदाजा नहीं है उसका आप जीता जागता सबूत श्रीलंका को देख पा रहे होंगे कि अभी हाल ही में श्रीलंका में भोजन के लिए कितनी ज्यादा परेशानी हो गई थी और ऐसी स्थिति में तमाम लोग भूखे मर चुके हैं इस भयावह स्थिति को जब तक लोग नहीं समझेंगे तब तक जनसंख्या पर रोक नहीं लगाया जा सकता है अतः जनसंख्या की वृद्धि से होने वाले दुष्परिणामों को लोगों को ज्ञात कराना अत्यंत आवश्यक है

3-जनसंख्या नियंत्रण के लिए रैली (jansankhya niyantran ke liye raily)

हम आपको बताना चाहते हैं कि जनसंख्या नियंत्रण के लिए आपको रैली निकाला जाना चाहिए जैसा कि आप लोगों को मालूम होगा कि जब भी चुनाव का समय आता है तो देश के सभी नेता वोट लेने के लिए अनेक प्रकार की रैलियां निकालते हैं और उनका एक मुख्य लक्ष्य होता है जो कि यह होता है कि उन्हें वोट दिया जाए और उससे जुड़ी हुई अनेक प्रकार की जानकारी में जनता ओं के साथ शेयर करते हैं और जनता भी बहुत ही सही तरीके से उनको सुनती है ठीक उसी प्रकार से जनसंख्या नियंत्रण के लिए रैली निकाली जानी चाहिए और उस रैली के अंतर्गत जनसंख्या को नियंत्रित करने के अनेक प्रकार के कानून तथा उससे जागरूक किया जाना चाहिए ताकि यदि रैली में 4000 लोग एकत्र होते हैं तो उनमें से लगभग 400 लोगों के ऊपर जनसंख्या नियंत्रण का प्रभाव पड़ सकता है ऐसी स्थिति में जनसंख्या को नियंत्रित किया जा सकता है

4-गर्भनिरोधक साधनों का वितरण (garbh nirodhak sadhno ka vitran)

ग्रामीण इलाकों में तमाम ऐसे लोग हैं जो कि गर्भनिरोधक साधनों के बारे में अभी उनको बिल्कुल भी जानकारी नहीं है और वह चाहते हुए भी अपने परिवार को कम नहीं कर सकते हैं और इस वजह से जनसंख्या दिन प्रतिदिन बढ़ती जाती है अतः सरकार को यह चाहिए कि अस्पताल के कर्मचारियों को निर्देश दे कि अनेक प्रकार की गर्भनिरोधक सुविधाएं प्रत्येक व्यक्तियों के घर घर जाकर वितरण करें और ऐसी स्थिति में समय आने पर हुए उनका उपयोग कर सकते हैं क्योंकि ग्रामीण इलाकों में तमाम ऐसे लोग हैं जो कि गरीबी तथा शर्म के मारे हुए उन साधनों को नहीं खरीद पाते हैं ऐसी स्थिति में जनसंख्या की वृद्धि होती है जबकि इन साधनों के वितरण के द्वारा काफी लाभ पाया जा सकता है

निष्कर्ष (conclusion)

संपूर्ण पोस्ट पढ़ने के पश्चात हम इस निष्कर्ष पर पहुंचे हैं कि जनसंख्या वृद्धि भारत के लिए दिन प्रतिदिन एक बहुत बड़ी समस्या बनती जा रही है और इसका मुख्य कारण गरीबी अशिक्षा धार्मिक अंधविश्वास तथा अनेक प्रकार की परंपराएं पाई गई हैं जिसके द्वारा जनसंख्या में दिन प्रतिदिन विकास होता रहता है वहीं पर इससे होने वाली समस्याओं के बारे में भी हमने पढ़ा है कि इसके द्वारा हमारे जीवन में अनेक प्रकार की समस्याएं होती हैं जो कि खाने-पीने की समस्या निर्धनता गरीबी बेरोजगारी जैसी बड़ी समस्या हमारे देश में जन्म लेती हैं और हम सरकार को दोष देते हैं कि सरकार के द्वारा ही गरीबी बेरोजगारी और महंगाई बढ़ रही है को नियोजित करना चाहिए और सरकार के द्वारा बताए गए कानूनों का पालन करना चाहिए तथा छोटे परिवार का महत्व समझना चाहिए और अंधविश्वासों से दूर होना चाहिए जिस प्रकार की हमारी कमाई है उस प्रकार से हम अपने परिवार को नियोजित करें जिसके द्वारा जनसंख्या नियंत्रण में काफी लाभ मिल सकता है

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हमने यह पोस्ट अपने पड़े हुए जानकारी तथा सेल्फ एक्सपीरियंस के माध्यम से लिखा है अतः यदि इस पोस्ट में कुछ गलती दिखाई देती है तो आप हमें कमेंट करके बता सकते हैं मैं अपनी गलतियों को सुधारने का प्रयत्न करूंगा

shiva9532

My name is rahul tiwari and I am the owner and author of this blog. I am a full time blogger. I have studied B.Sc in computer science.

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